History of maharana partap
History of Maharana partap
महाराणा प्रताप सिंह सिसोदिया उदयपुर, मेवाड में सिसोदिया राजपूत
राजवंश के राजा थे। उनका नाम इतिहास में वीरता और दृढ प्रण के लिये अमर है।
उन्होंने मुगल सम्राट अकबर की अधीनता स्वीकार नहीं की और कई सालों तक संघर्ष किया।
महाराणा प्रताप सिंह ने मुगलों को कईं बार युद्ध में भी हरायामहाराणा प्रताप, मेवाड़ के 13वें राजपूत राजा थे। उनका जन्म
मेवाड़ के शाही राजपूत परिवार में आज ही के दिन, 09 मई 1540 को हुआ था। राजस्थान के
कुंभलगढ़ में जन्में महाराणा प्रताप, महाराणा उदयसिंह और महारानी जयवंती की संतान थे।महाराणा प्रताप.
परिचय व परिवार
1. महाराणा प्रताप का जन्म 09 मई 1540 को राजस्थान के कुंभलगढ़ में
हुआ था।
2. महाराणा प्रताप ने राजनैतिक
वजहों से कुल 11 शादियां की थीं।
3. महाराणा प्रताप के कुल 17 बेटे और 05 बेटियां थीं।
4. महारानी अजाब्दे से पैदा हुए
पुत्र अमर सिंह को महाराणा प्रताप का उत्तराधिकारी बनाया गया था।
5. अमर सिंह भी अपने पिता महाराणा
प्रताप की तरह काफी बहादुर और पारक्रमी थे।
6. इतिहासकारों के अनुसार हल्दी
घाटी युद्ध के वक्त अमर सिंह की आयु 17 वर्ष थी।
7. मेवाड़ की रक्षा करते हुए
महाराणा प्रताप की 19 जनवरी 1597 को मृत्यु हुई थी।
8. बताया जाता है कि महाराणा
प्रताप की मौत पर मुगल शासक अकबर भी बहुत दुखी हुआ था।
9. अकबर दिल से महाराणा प्रताप के
गुणों, उनकी बहादुरी और चरित्र का बहुद
बड़ा प्रशंसक था।

Nice
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